हिंदी की सबसे बड़ी ताक़त इसकी मौलिकता व सरलता
शि.वा.ब्यूरो, अहमदाबाद। हिंदी भारतीय परंपरा, जीवन मूल्यों, संस्कृति व संस्कारों की सच्ची संवाहक, संप्रेषक और परिचायक है। इसके प्रचार-प्रसार से देश में एकता की भावना और सुदृढ़ होगी। सृजन एवं अभिव्यक्ति की दृष्टि से हिंदी दुनिया की अग्रणी भाषाओं में से एक है। ऐसे में हिंदी में गर्व से कार्य करने और अपनी भाषा को समृद्ध करने में सभी को योगदान देना होगा। उक्त उद्गार पोस्टमास्टर जनरल कृष्ण कुमार यादव ने डाक विभाग द्वारा क्षेत्रीय कार्यालय में आयोजित हिंदी दिवस और तदनुसार आरम्भ हिंदी पखवाड़ा का शुभारंभ करते हुए किया। इससे पूर्व उन्होंने मां सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण कर और दीप प्रज्वलित कर हिंदी पखवाड़ा का शुभारम्भ किया।
पोस्टमास्टर जनरल ने कहा कि अनेकता में एकता को स्थापित करने की सूत्रधार 'हिन्दी भाषा' भारतीय संस्कृति का अभिन्न हिस्सा है, इसकी सबसे बड़ी ताक़त इसकी मौलिकता और सरलता है। भारत सरकार द्वारा विकास योजनाओं तथा नागरिक सेवाएं प्रदान करने में हिंदी के प्रयोग को निरंतर बढ़ावा दिया जा रहा है। आज संयुक्त राष्ट्र संघ जैसी संस्थाओं में भी हिंदी की गूंज सुनाई देने लगी है। 

निदेशक डाक सेवा मीता के. शाह ने बताया कि डाक विभाग की ओर से 14 से 29 सितंबर तक आयोजित हिंदी पखवाडे़ में तमाम प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जायेगा। कार्यक्रम में सहायक निदेशक एम . पटेल, सहायक लेखाधिकारी चेतन सैन, सहायक अधीक्षक जिनेश पटेल, रमेश पटेल, आर टी परमार, डाक निरीक्षक पायल पटेल, योगेन्द्र राठोड सहित तमाम विभागीय अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन सौरभ कुमावत ने किया।

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