राष्ट्रीय लोक अदालत के प्रचार-प्रसार हेतु वाहन को हरी झण्डी दिखाई

गौरव सिंघल, सहारनपुर। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण एवं राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशानुसार जनपद न्यायाधीश बबीता रानी के मार्गदर्शन में 10,11 एवं 12 जुलाई को पैटी ऑफेन्स की विशेष लोक अदालत एवं 13 जुलाई 2024 को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन जनपद एवं जनपद की समस्त तहसीलों में किया जाएगा। इस सम्बन्ध में जनपद न्यायाधीश बबीता रानी, पीठासीन अधिकारी, मोटर दुर्घटना दावा अधिकरण, अम्बर रावत, अपर जिला जज प्रथम, ब्रिजेश कुमार शर्मा, बार एसोसियेशन के अध्यक्ष राजीव गुप्ता एवं सचिव निशांत त्यागी ने हरी झडी दिखाकर प्रचार वाहन को रवाना किया। 

जनपद न्यायाधीश बबीता रानी ने बताया कि राष्ट्रीय लोक अदालत में मोटर दुर्घटना प्रतिकर अधिनियम के वाद, तलाक के प्रकरण को छोडकर वैवाहिक वाद, लघु शमनीय वाद, भारतीय उत्तराधिकार अधिनियम के वाद, एनआईएक्ट के वाद, दीवानी वाद, विद्युत अधिनियम के वाद, एमवीएक्ट व ट्रैफिक ई-चालान के वाद, भूराजस्व के वाद, (केवल जनपद न्यायालय में लम्बित) बैको के लोन सम्बन्धित विवाद,प्रशासन के वाद आपसी सुलह समझौते के आधार पर निस्तारित किये जायेगे। उन्होनें कहा कि राष्ट्रीय लोक अदालत के आयोजन का मकसद आपसी विवादों को सुलह समझौते के आधार पर निपटाना है, जिसमें दोनो पक्षों की जीत होती है। उन्होनें कहा कि निस्तारित वाद की कोई अपील नही होती तथा अदा की गयी कोर्टफीस वापिस हो जाती है। उन्होनें कहा कि अधिवक्ता, वादकारी एवं समस्त हितधारको से मेरी अपील है कि इस महत्वपूर्ण कार्य में सहभागी बने और अधिक से अधिक वाद निस्तारित करायें, ताकि आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत के आयोजन को सफल बनाया जा सके। 
अपर जिला जज एवं नोडल अधिकारी राष्ट्रीय लोक अदालत शाश्वत पाण्डेय एव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव/अपर जिला जज प्रबोध कुमार वर्मा ने बताया कि यह प्रचार वैन सहारनपुर के सभी गांवों तहसीलों, पंचायतों एवं सुदूरवर्ती क्षेत्रों में 08 से 10 जुलाई तक आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत के सम्बन्ध में एवं विभिन्न कानूनों के बारे में जनता को जागरूक करेगी। जागरूकता व प्रचार प्रसार के कार्य में पीएलवी को नामित किया गया है। राष्ट्रीय लोक अदालत 13 जुलाई 2024 के सम्बन्ध में पीठासीन अधिकारी, मोटर दुर्घटना दावा अधिकरण अम्बर रावत, अपर जिला जज प्रथम ब्रिजेश कुमार शर्मा, बार एसोसियेशन के अध्यक्ष राजीव गुप्ता एवं सचिव निशांत त्यागी ने भी अपने अपने विचार रखें।

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