श्रीराम कॉलेज में गुणवत्तापूर्ण उच्च शैक्षिक संस्थानों की स्वायत्ता एवं रैंकिग विषय पर आयोजित सात दिवसीय कार्यशाला का चैथा दिन

शि.वा.ब्यूरो, मुजफ्फरनगर। व्यावहारिक रोजगार परक एवं कौशल विकास केंद्रीत उच्च शिक्षा व्यवस्था को प्रभावी बनाने के उददेश्य से श्रीराम कॉलेज के सभागार में गुणवत्ता पूर्ण उच्च शैक्षिक संस्थानों की स्वायत्ता एवं रैंकिग विषय पर चल रही सात दिवसीय कार्यशाला के चैथे दिन मुख्य वक्ता के रूप में डीन एकेडमिक्स डाॅ0 विनीत कुमार शर्मा रहे तथा बतौर विशिष्ट अतिथि श्रीराम ग्रुप आफ कालिजेज एकीकृत परिसर के निदेशक डाॅ. एसएन चैहान, प्राचार्य डाॅ. प्रेरणा मित्तल, निदेशक रिर्सच डाॅ. आरपी ंिसह, श्रीराम कॉलेज आफ फार्मेसी के निदेशक डा गिरेन्द्र गौतम, ललित कला विभाग के निदेशक डाॅ. मनोज धीमान, डीन एकेडमिक्स डाॅ. विनीत कुमार शर्मा, डीन मैनेजमेंट डाॅ. सौरभ मित्तल आदि मुख्य रूप से उपस्थित रहे। 

कार्यशाला के चैथे दिन मुख्य वक्ता डा विनीत कुमार शर्मा का विषय भारत में उच्च शिक्षा संस्थानों के नैक द्वारा मूल्यांकन और मान्यता प्रणाली में नये परिवर्तन एवं सुझाव रहा। उन्होंने कहा कि भारत में उच्च शिक्षा संस्थानों के मूल्यांकन और मान्यता को मजबूत करने के लिए, राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद (नैक) ने वर्तमान 8 बिन्दु ग्रेडिंग प्रणाली के स्थान पर एक सरल बाइनरी एक्रेडिटेशन एवं लेवल आधारित एक्रेडिटेशन लागू करने का प्रस्ताव रखा है। उन्होंने कहा कि डॉ. राधाकृष्णन समिति की रिपोर्ट के आधार पर नैक द्वारा अब नए मान्यता दिशा निर्देश लाए जानेे हैं, बाइनरी एक्रेडिटेशन का उददेश्य सभी उच्च शिक्षा संस्थानों को नैक मान्यता प्रक्रिया में शामिल होने के लिए प्रोत्साहित करना है। उन्होंने कहा कि बाइनरी सिस्टम के लिये संस्थानों की पात्रता शर्तो को पहले से शिथिल किया गया है। 

डाॅ. सौरभ मित्तल ने कहा कि नई नैक प्रणाली के अंतर्गत 5 वर्षो के स्थान पर 3 वर्षो के डाटा के आधार पर मूल्यांकन किया जायेगा। उन्होंने कहा कि एक्रेडिटेशन सर्टिफिकेट की अवधि 02 वर्षो की होगी तथा लेवल आधारित प्रणाली के लिये निर्धारित नये मापदंडों पर चर्चा की, जिसमें 07 क्राइटेरिया के स्थान पर वर्तमान में 10 क्राइटेरिया पर केंद्रित मूल्यांकन किया जाना है। उन्होंने कहा कि नई नैक प्रणाली नई शिक्षा नीति 2020 के अनुपालन को ध्यान में रखकर बनाई गई है। उन्होने नई नैक प्रणाली और पुरानी नैक प्रणाली में अंतर बताते हुये कहा कि नई नैक मान्यता प्रणाली में विस्तृत ग्रेडिंग प्रणाली से बदलकर अक्क्रेडिटशन, प्रोविशनल अक्क्रेडिटशन और नॉट अक्क्रेडिटशन के साथ-साथ विशेष उपलब्धि वाले महाविद्यालय के लिये लेवल आधारित (लेवल 1 से लेवल 5) एक्रेडिटेशन सिस्टम का प्रस्ताव रखा गया है, जिसमें लेवल 4 तक राष्ट्रीय महत्वता एवं लेवल 5 वैश्विक महत्वता के लिये दिया जाना प्रस्तावित है। उन्होंने कहा कि नई गाइड लाईन एवं उनके प्रारूप अप्रैल 2025 तक नैक के पोर्टल पर सार्वजनिक होने की सम्भावना है।  

कार्यशाला में श्रीराम कॉलेज के सभी विभाग के विभागध्यक्ष व शिक्षक एवं शिक्षिकाएं उपस्थित रहे। इस अवसर पर डा प्रेरणा मित्तल ने धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यशाला का सफल संचालन शालिनी मिश्रा ने किया। इस अवसर पर निशांत कुमार राठी, नीतू सिंह, पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग के विभागाध्यक्ष रवि गौतम, विवेक कुमार, प्रमोद कुमार, डाॅ. अशफाक अली, डाॅ. पूजा तोमर, श्वेता राठी, डाॅ. विपिन कुमार सैनी सहित श्रीराम कॉलेज के सभी शिक्षक-शिक्षिकाऐं उपस्थित रहे।

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