गर्मी व लू के प्रकोप से बचने के लिए जिलाधिकारी ने जारी की एडवाइजरी

गौरव सिंघल, सहारनपुर। जिलाधिकारी  मनीष बंसल ने गर्मी के मौसम में लू के प्रकोप से जनसामान्य को बचाने के लिए एडवाइजरी जारी की है। उन्होंने कहा कि भीषण गर्मी में लोग कुछ सावधानियां अपनाकर स्वयं को और अपने परिवार को गर्मी व लू के प्रकोप से सुरक्षित रख सकते हैं। उन्होंने कहा कि गर्मी के मौसम में चाहे इंसान हो या पशु या फिर कोई पालतू जानवर सभी को विशेष देखभाल की जरूरत होती है। उन्होंने कहा कि बच्चों व बुजुर्गो का विशेष तौर पर ध्यान रखा जाए। उन्होंने बताया कि मौसम विभाग की ओर से जारी की गयी एडवाइजरी के अनुसार आगामी दिनों में दैनिक तापमान में तेजी से वृद्धि होने का पूर्वानुमान व्यक्त किया गया है। वर्तमान समय में जनपद में परिस्थितिया हीट वेव (लू) के अनुकूल बनी हुई है। मौसम विभाग द्वारा संभावना व्यक्त की गयी है कि इस वर्ष गर्मियों में पिछले वर्ष की तुलना में अधिक लू व गर्म हवायें अधिक चलेगी। इसलिए जिला आपदा प्रबन्ध प्राधिकरण सहारनपुर द्वारा जनपद के नागरिकों को लू/गर्म हवाओं से बचाने के लिए कुछ आवश्यक दिशा-निर्देश जारी कियें है। जिनको अपना कर इस बार गर्मियों के मौसम में लू/गर्म हवाओं से बचा जा सकता है।

अधिक से अधिक पानी पियें, यदि प्यास न लगी हो तब भी पानी पियें, हल्के रंग के पसीना शोषित करने वाले हल्के वस्त्र पहनें, धूप के चश्में, छाता, टोपी, व चप्पल का प्रयोग करें,अगर आप खुले मे कार्य करते है तो सिर, चेहरा, हाथ पैरों को गीले कपड़े से ढके रहें तथा छाते का प्रयोग करें, यात्रा करते समय पीने का पानी अपने साथ ले जाएं, ओ0 
आर0एस0, घर में बने हुये पेय पदार्थ जैसे लस्सी, चावल का पानी (माड़), नीबू पानी, छाछ आदि का उपयोग करे, जिससे कि शरीर में पानी की कमी की भरपाई हो सके, हीट स्ट्रोक, हीट रैश, हीट क्रैम्प के लक्षणों जैसे कमजोरी, चक्कर आना, सरदर्द, उबकाई, पसीना आना, मूर्छा आदि को पहचानें,यदि मूर्छा या बीमारी अनुभव करते है तो तुरन्त चिकित्सीय सलाह लें, अपने घरों को ठण्डा रखे, पर्दे दरवाजे आदि का उपयोग करे तथा शाम/रात के समय घर तथा कमरों को ठण्डा करने हेतु इसे खोल दें, पंखे गीले कपडा़ें का उपयोग करें तथा बारम्बार स्नान करें, कार्य स्थल पर ठण्डे पीने का पानी रखें/उपलब्ध करायें, कर्मियों को सीधी सूर्य की रोशनी से बचने हेतु सावधान करे,
श्रमसाध्य कार्यों को ठण्डे समय में करने/कराने का प्रयास करें, घर से बाहर होने की स्थिति में आराम करने की समयावधि तथा आवृति को बढायें, गर्भस्थ महिला कर्मियों तथा रोगग्रस्त कर्मियों पर अतिरिक्त ध्यान देना चाहिए।
बच्चों को खड़ी गाडियों में न छोड़ें, दोपहर 12 से 03 बजे के मध्य सूर्य की रोशनी में जाने से बचें, गहरे रंग के भारी तथा तंग कपड़ें न पहनें, जब बाहर का तापमान अधिक हो तब श्रमसाध्य कार्य न करें,
अधिक गर्मी वाले समय में खाना बनाने से बचें, रसोई वाले स्थान को ठण्डा करने के लिये दरवाजे तथा खिड़कियॉ खोल दें, शराब, चाय, काफी, कार्बोनेटडे साफ्ट ड्रिंक आदि के उपयोग करने से बचें क्योंकि यह शरीर में निर्जलीकरण करता हैं।

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